Page 33 - CafeSocial-July-2021
P. 33

ज ,  हदी के  स ान क



                                         एक ऐसे देश, जह  टूटी फू टी अ  जी को शु   हदं ी से बेहतर माना

                                         जाता हो और मान सकता अं ेजो क  हो, उस देश म  एक  ामीण
                                              पृ भू म वाले युवक क   हदं ी के   लए संघष  क  कहानी


                                             कोरोना काल म  िह ी का झंडा बुलंद िकया। पोट ल पर
                  वीण जैन              800 से अिधक िशकायत  और 300 आरटीआई आवेदन लगा चुके  ह ।
                                                                                       वीण  ीवा व,


               रायसेन. भारत सरकार म  काय रत अ धकार  अं ेजी क    कोरोना संबंधी वेबसाइट  हदं ी म  बनाई जाएं। अंतत:  वीण जैन के
        सेवा  म   अं ेज   से  भी  आगे  ह ,  इस लए  भारत  सरकार  क   पूर      ाव पर क    सरकार ने टीकाकरण संबंधी वेबसाइट को  हदं ी
                                                                                  ं
         शास नक  व ा अं ेजी म  संचा लत क  जाती है और यह बात   स हत अ  10-12 भारतीय भाषाओ म   वक सत करने का  नण य
        जगजा हर है। हर सरकार  योजना और ऑनलाइन सेवा म  भारत    लया है।
        सरकार के  अ धकार  अं ेजी थोपने से बाज नह  आते ह ।
                                                                 हदं ी के  उ ान क  धुन के  प े  युवा  वीण कु मार जैन ने
               कोरोना काल म  भी भारत सरकार का  ा  मं ालय   कोरोना काल म  भारत सरकार  ारा भाषाई आधार पर िकए जा रहे

        अं ेज  को खुश करने के   लए 100   तशत कामकाज अं ेजी म  कर   भेदभाव के   व   सभी मं ालय  को लगातार प   लखे। आरटीआई
        रहा है। इस वै  क महामार  से बचने के  सभी उपाय,  दशा- नद श,   आवेदन लगाए। अके ले कोरोना काल म  ही  ह ी का झंडा बुलंद
        मोबाइल एप, वेबसाइट आ द के वल अं ेजी म  तैयार कर जनता को   करने के   लए  वीण जैन लोक  शकायत पोट ल पर 800 से अ धक
        परोसे जा रहे ह ।                                  शकायत  और 300 आरटीआई आवेदन लगा चुके  ह ।


               कोरोना सं मण, टीकाकरण क  अं ेजी म  बनी वेबसाइट      रा ीय  को वड  टीकाकरण  क   वेबसाइट  को वन  भी

                                                                    ं
        देश के  आम नाग रक  क  समझ से परे है। जबिक इसक  जानकार    सरकार  बाबुओ ने के वल अं ेजी म  बनाई थी। आम जनता से िकया
        हर एक     तक पहंचे और वो इसे समझ सके , यह ज र  है।   जा रहा यह भाषाई भेदभाव  वीण जैन को रास नह  आया और इसके
                        ु

        इसके   लए रायसेन  जले के  क ा सु ानगंज  नवासी और वत मान    वरोध म  उ  ने रा प त,  धानमं ी,  ा  मं ी से लेकर राजभाषा
        म  मुंबई म  कं पनी सलाहकार  वीण जैन ने मु हम शु  क । उ  ने    वभाग का दरवाजा खटखटाया।  शकायत  अनदेखी क  जाती रह ,
        लगताार  शकायत  और आवेदन कर सरकार को मजबूर िकया िक   पर वे  के  नह । 10  शकायत  और 4 महीने क  मेहनत के  बाद अंतत:
























                                                                                                JULY 2021 33
   28   29   30   31   32   33   34   35   36   37   38